बेस्ट हिंदी शायरी
आइना हो जाओ बेशक ,
इतनी बफा करो |
मैं जब खुद को देखु तो
बस तुम दिखा करो
अश्क़ो की बरसात में ,
अक्सर भींग जाता हूँ
निकलना भी इतना मुश्किल हो जाता है
की उनमे इतना जाता हूँ
बज़्म में इस तरह ये सर झुका के बैठे हो
हमें मालूम है पुरनूर तमाशे बना के बैठे हो
हमारा सर तुम्हारे हाँथ के पत्थर का जाबित था
मगर अफ़सो स है तुम हाँथ में मेहँदी लगा के बैठे हो
अब ख्याल ही ही नहीं आते है
लगता ख्यालो में आने वाले ने
ख्यालो में आना छोड़ दिया
आँखों ने दिल से कहा
कई रातों से सोया नहीं हूँ
दिल ने आँखों से हसकर कर कहा होता
मोहब्बत एक तरफा हो
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